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Kavita Kosh से
ये अदाएं प्यार की कम न हों, कभी हम भी जिनमें सँवर गये
हमें दोस्तों ने भुला दिया, हमें वक्त वक़्त ने भी दग़ा दिया
उन्हें ज़िन्दगी ने मिटा दिया, जो निशान दिल में उभर गये