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* [[ अरुणकांत जोगी भिखारी तुम हो कौन / काजी नज़रुल इस्लाम]]
* [[ आज भी रोये वन में कोयलिया/ काजी नज़रुल इस्लाम]]
* [[ सावन की रात में गर स्मरण तुम आये/ काजी नज़रुल इस्लाम]]