भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
|संग्रह=लीलटांस / कन्हैया लाल सेठिया
}}
[[Category:मूल राजस्थानी भाषा]]{{KKCatRajasthaniRachna}}
{{KKCatKavita‎}}
<Poem>
 
कता ही
 
रूप'र जोबन
 
आवे मुंडागे
 
पण दरपण
 
कोणी रलावे मन
 
दीठ रे सागे !
 
</Poem>
Delete, Mover, Protect, Reupload, Uploader
8,152
edits