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Kavita Kosh से
नियम और शर्त खेल के
खेल मे में इज़ाज़त है
तुम्हें, खेलने के लिये
आख़िरी दम तक
ऐलान नहीं कर सकते जीत अपनी, मद में
खेल मे में मुँह है, मगर हैं, आँख और कान भीखेल मे में शातिर होने पर भारी है माहिर होना
मगर, सबसे ज़रूरी है, ज़ाहिर होना