भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
{{KKCatKavita}}
<poem>
Vijay Chormare
मराठी कवि विजय चोरमारे की कविता -- तालाबन्दी
किया जा रहा है इनसानों को सैनीटाइज़
मैल से सने हुए हैं उनके कपड़े
इतनी मोटी धूल की परत
कि अब पहचान नहीं सकेंगे घर वाले भी
 
पाँव कट-फट चुके हैं, उजड़ गया है सब कुछ
फिर भी थके नहीं है पैर
Delete, Mover, Protect, Reupload, Uploader
53,277
edits