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लो सुर्ख़ सवेरा आता है, आज़ादी का आज़ादी का
गुलनार<ref>अनार का लाल सुर्ख़ फूल की तरह चेहरे वाला</ref> तराना गाता है, आज़ादी का आज़ादी का
देखो परचम लहराता है, आज़ादी का आज़ादी का ।