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दो गुण्डे / कमलेश कमल

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गाड़ी बंद कर
दबे पाँव उस तक पहुँचता है।
...साला भिखारी समझ रखा है।
गिड़गिड़ाहट का भी कोई असर नहीं
चलो, दो पेटी माल ही उतार दो
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