{{KKCatGhazal}}
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होता नहीं है प्यार भी अब प्यार की तरह
करने लगे हैं लोग ये ब्योपार की तरह
तस्वीर हो कि सूखे गुलाब, अधजले तस्वीर और ख़ुतूतसब
चूमे गए कभी लबो रुख़सार की तरह
मानी बदल गए यहाँ नेकी के जब 'रक़ीब'
"हम भी खड़े हुए हैं गुनहगार की तरह"
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