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1)एक. पलक उठा के यूं यूँ ही
जब देखा उसने
उभर गया
नज़रों में
और एक सपना
जीने को यूं यूँ मिल गया..
2)दो.  भरे कुछ रंग प्यार के
और कुछ रंग उस में उसने
शायद विश्वास का मिलाया
कहा जब आंखो आँखों में आँखे आँखें डाल कर
कि अब या न उतरेगा ज़िंदगी से
तो लगा ..
जो जानता है कि ..
प्यार और विश्वास के रंग
कभी ज़िंदगी में फीके नही नहीं पड़ते..  
तीन.
3).चाह नही है ..
कुछ और तुमसे पाने की
सिर्फ़ चंद रंगो से ..
मीठा बोल सतरंगा ..
और महकते फूलों की
आंच -सा हर पल ..
इस धड़कते दिल के ..
नाम कर देना!!
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