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[[Category:बाल-कविताएँ]]
<poem>
सूरज दादा रहम करो,
गरमी को कुछ कम करो।
सुबह सवेरे आते हो,
बहुत देर से जाते हो।
विनती है तुम सेंक घटाओ, चंदा-0-मामा से बन जाओ।</poem>