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पग पग पर फूलों का डेरा, घेरे था रंगों का घेरा
पर मै मैं तो केवल बस तेरा, तेरा होकर जिया
जग ने रत्नकोष है लूटा, मिला तंबूरा मुझको टूटा
उसपर भी जब भी स्वर फूटा, मैने मैंने कुछ गा लिया
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