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इस घर में / नवीन सागर

No change in size, 15:18, 2 मई 2010
<Poem>
इस घर में घर से ज़्यादा धुआँ
अँधेरे से ज्‍यादा ज़्यादा अँधेरा
दीवार से बड़ी दरार।
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