भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज

नया तरीका / नागार्जुन

1,809 bytes added, 17:48, 29 अप्रैल 2007
New page: [[नागार्जुन]] [[कवितायें]] [[नागार्जुन]] ****************************************** दो हज़ार मन गेहूं ...
[[नागार्जुन]]
[[कवितायें]]
[[नागार्जुन]]

******************************************

दो हज़ार मन गेहूं आया दस गांवों के नाम

राधे चक्कर लगा काटने, सुबह हो गयी शाम

सौदा पटा बडी मुश्किल से, पिघले नेताराम

पूजा पाकर साध गये चुप्पी हाकिम-हुक्काम

भारत-सेवक जी को था अपनी सेवा से काम

खुला चोर-बाज़ार, बढा चोकर-चूनी का दाम

भीतर झुरा गयी ठठरी, बाहर झुलसी चाम

भूखी जनता की खातिर आज़ादी हुई हराम


नया तरीका अपनाया है राधे ने इस साल

बैलों वाले पोस्टर साटे, चमक उठी दीवाल

नीचे से लेकर ऊपर तक समझ गया सब हाल

सरकारी गल्ला चुपके से भेज रहा नेपाल

अन्दर टंगे पडे हैं गांधी-तिलक-जवाहरलाल

चिकना तन, चिकना पहनावा, चिकने-चिकने गाल

चिकनी किस्मत, चिकना पेशा, मार रहा है माल

नया तरीका अपनाया है राधे ने इस साल


१९५८ में लिखित
Delete, Mover, Protect, Reupload, Uploader
53,627
edits