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{{KKRachna}} |रचनाकार=सर्वत एम जमाल संग्रह= }} {{KKCatGazalKKCatGhazal}} <poem>
कभी छिछली, कभी चढ़ती नदी का क्या भरोसा है।
महाभारत में अबके कौरवों ने शर्त यह रख दी
बिना रथ युद्ध होगा, सारथी का क्या भरोसा है<poem/poem>