भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
{{KKGlobal}}
रचनाकारः [[{{KKRachna|रचनाकार=सूर्यकांत त्रिपाठी "निराला"]]}}[[Category:कविताएँलम्बी कविता]] [[Category:बादल राग / भाग ३ / सूर्यकांत त्रिपाठी "निराला"|<< पिछला भाग]]
~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~*~
उमड़ सृष्टि के अन्तहीन अम्बर से,<br>
मुक्त शिशु पुनः पुनः एक ही राग अनुराग।<br><br>
(कविता संग्रह, "परिमल" से)
 
 
 
[[बादल राग / भाग ५ / सूर्यकांत त्रिपाठी "निराला"|अगला भाग >>]]