सद्दाम को फांसी की सजा सुनाई गई तो सरतो को बहुत बुरा लगता है। फिर अगले दिन खबर आती है कि कोई दलील, अपील नहीं मानी गई और फांसी का वक्त तय कर दिया गया। 30 दिसम्बर को टी.वी. पर फांसी का सीन देखती है तो रो पड़ती है सरतो और क्या कहती है:
सद्दाम नै पूरा इराक चाहवै, नफेसिंह नहीं झूठ भकावै,
एकाध बै कुर्दां पै जुलम ढावै, याहे सै असली तसवीर गोरी॥
जनता खातर पूरी हमदर्दी, अमरीका दीखै उसनै खुदगर्जी
ब्रिटेन फ्रांस जर्मनी सारे कै, कहैं युद्ध मत थोपो म्हारे पै
कट्ठे हों सद्दाम के इशारे पै, याहे सै असली तसवीर गोरी॥
देश भीतर बंदर बांट मचाकै, कुर्दां गेल्या सद्दाम लड़वाकै
अमरीका चाहता मैं बैठूं आकै, याहे तो सै तसवीर गोरी॥
पर इराकी बहादुरी दिखावैं, कोन्या अपना शीश झुकावैं
दुनिया रोकैगी युद्ध घमसान, राम रहीम और रहमान
शान्ति का करते गुणगान, याहे सै असली तसवीर गोरी॥
अमरीका की सेना छारी सै, जुलमों सितम या ढारी सै
इराक दबाना आसान कोन्या, बुश नै यो उनमान कोन्या
रणबीर शैतान सै इन्सान कोन्या, याहे सै असली तसवीर गोरी॥