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सासड़ नै भेजी हे मां मेरी चुंदड़ी जी / हरियाणवी
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हरियाणवी लोकगीत ♦ रचनाकार: अज्ञात
सासड़ नै भेजी हे मां मेरी चुंदड़ी जी,
ए जी कोई दे भेजी मेरी सास, इन्द राजा नै झड़ी ए लगा दई जी
अलां तो पलां हे मां मेरी छेकले जी,
ए जी कोई बी सासड़ के बोल, इन्द राजा नै झड़ी ए लगा दई जी
ओढूँ तो दीखै हे मां मेरी छेकले जी,
ए जी कोई रड़कै सासड़ के बोल, इन्द राजा नै झड़ी ए लगा दई जी
सासरे में बेट्टी हे मां मेरी न्यूं रह्वै जी,
ए जी कोई ज्यूं रै कढ़ाई बीच तेल, इन्द राजा नै झड़ी ए लगा दई जी।