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हाऊ और बिलाऊ / कन्हैयालाल मत्त

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मिस्टर हाऊ और बिलाऊ,
थे बिल्कुल बछिया के ताऊ।
लाए एक कहीं से घोड़ा,
लगे जमाने उस पर कोड़ा।

उसे न डाला दाना-पानी,
मुफ्त सैर करने की ठानी।
भूखा घोड़ा यूँ घबराया,
ऐसा भागा हाथ न आया।