भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

"इक्कीसवीं शताब्दी / शलभ श्रीराम सिंह" के अवतरणों में अंतर

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
(नया पृष्ठ: {{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=शलभ श्रीराम सिंह |संग्रह=कल सुबह होने के पहले / श…)
 
(कोई अंतर नहीं)

06:29, 28 जून 2011 के समय का अवतरण

शून्य में स्थिर है एक अग्नि-शिखर !
शिखर पर ज्वालामुखी पक्षियों का आवास है ।
जहाँ अनगिनत क्षुधित विस्फोट
प्रकाश की मृत्यु कामना कर रहे हैं !
संसार अब अंधकार-युक्त-विस्तृत नहीं
प्रकाशमान और सीमित है !
(१९६६)