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"प्रक्रिया / भारत यायावर" के अवतरणों में अंतर

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मैं तुम्हारे पास बैठा हूँ
 
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मैं तुम्हारे पास नहीं बैठा हूँ
 
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मैं भटक रहा हूँ जंगल में
 
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जंगल में गुर्रा रहे हैं चीते
 
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चीतों की आँखें लाल हैं
 
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चीतों के पंजे पैने हैं
 
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मैं डर रहा हूँ
 
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मैं बहुत डर रहा हूँ
 
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पर मेरे अन्दर मंडरा रही है एक चील
 
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चील दहशत का नाम है
 
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उसकी चोंच में माँस का एक लोथड़ा है
 
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वह मेरा हृदय है
 
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वह धड़क रहा है
 
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वह तेज़ी से धड़क रहा है
 
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यह मैं कहाँ पहुँच रहा हूँ
 
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कितनी गहराइयों में उतर रहा हूँ
 
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11:54, 31 अक्टूबर 2011 के समय का अवतरण

मैं तुम्हारे पास बैठा हूँ
मैं तुम्हारे पास नहीं बैठा हूँ

मैं भटक रहा हूँ जंगल में
जंगल में गुर्रा रहे हैं चीते
चीतों की आँखें लाल हैं
चीतों के पंजे पैने हैं
मैं डर रहा हूँ
मैं बहुत डर रहा हूँ

मैं तुम्हारे पास बैठा हूँ
पर मेरे अन्दर मंडरा रही है एक चील
चील दहशत का नाम है
उसकी चोंच में माँस का एक लोथड़ा है
वह मेरा हृदय है
वह धड़क रहा है
वह तेज़ी से धड़क रहा है

यह मैं कहाँ पहुँच रहा हूँ
कितनी गहराइयों में उतर रहा हूँ