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"दम / हरिऔध" के अवतरणों में अंतर

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क्यों लिया यह न सोच पहले ही।
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आप तुम बारहा बने यम हो।
 
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हैं खटकते तुम्हें किये अपने।
 
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क्या अटकते इसी लिए दम हो।  
 
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11:14, 19 मार्च 2014 के समय का अवतरण

क्यों लिया यह न सोच पहले ही।
आप तुम बारहा बने यम हो।
हैं खटकते तुम्हें किये अपने।
क्या अटकते इसी लिए दम हो।