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10:05, 21 अप्रैल 2014 के समय का अवतरण

लौकी बन लटकूं
मुदगर सी लंबी हो या हंडिया
फर्क नहीं पड़ता
दिल की बीमारी में बाबा कोई
रस निचोड़ के पिलवा दे या
अंतस को खाली करके
तार पर सुर तान करके
इकतारा बन बाजूं
कड़ियल हाथों में साजूं.