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"प्रेम कविता / अंजू शर्मा" के अवतरणों में अंतर

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11:17, 26 दिसम्बर 2014 के समय का अवतरण

ये सच है
तमाम कोशिशों के बावजूद
कि मैंने नहीं लिखी है
एक भी प्रेम कविता

बस लिखा है
राशन के बिल के साथ
साथ बिताये
लम्हों का हिसाब,

लिखी हैं डायरी में
दवाइयों के साथ,
तमाम असहमतियों की
भी एक्सपायरी डेट

लिखे हैं कुछ मासूम झूठ
और कुछ सहमे हुए सच
एकाध बेईमानी
और बहुत सारे समझौते,

कब से कोशिश मैं हूँ
कि आंख बंद होते ही
सामने आये तुम्हारे चेहरे
से ध्यान हटा
लिख पाऊँ
मैं भी
एक अदद प्रेम कविता...