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"नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ (सावन-गीत) / खड़ी बोली" के अवतरणों में अंतर

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''' सावन –गीत <br>'''
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हाथों में गुड़िया रे, सखियों का मेरा खेलणा<br>
  
 
नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…<br>
 
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गोद में भतीजा रे गळियों का मेरा घूमणा<br>
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नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…<br>
 
नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…<br>
  
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धड़ी- धड़ी  आट्टा रे चूल्हे का मेरा फूँकणा<br>
 
धड़ी- धड़ी  आट्टा रे चूल्हे का मेरा फूँकणा<br>

22:24, 19 जुलाई 2008 का अवतरण

   ♦   रचनाकार: अज्ञात

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे

सावण का मेरा झूलणा

एक सुख देखा मैंने अम्मा के राज में

हाथों में गुड़िया रे, सखियों का मेरा खेलणा

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…

एक सुख देखा मैंने, भाभी के राज में

गोद में भतीजा रे गळियों का मेरा घूमणा

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…

एक सुख देखा मैंने बहना के राज में

हाथों में कसीदा रे फूलों का मेरा काढ़णा

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…

एक दु:ख देखा मैंने सासू के राज में

धड़ी- धड़ी गेहूँ रे चक्की का मेरा पीसणा

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे…

एक दुख देखा मैंने जिठाणी के राज में

धड़ी- धड़ी आट्टा रे चूल्हे का मेरा फूँकणा

नन्हीं-नन्हीं बुँदियाँ रे

सावण का मेरा झूलणा