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"मदद का भरोसा दिला करके लूटे / डी. एम. मिश्र" के अवतरणों में अंतर

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उसी को हैं मिलते सड़क, पुल के ठेके
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वो फ़र्ज़ी रसीदें लगा करके लूटे
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बहुत बार उसकी हुई जाँच लेकिन
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हुआ क्या, कमीशन खिला करके लूटे
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उसे कोई बापू, कोई संत बोले
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ख़ुदा का भी डर वो दिखा करके लूटे
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किसी को तनिक भी न लगती भनक है
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सुना है तमंचा सटा करके लूटे
 
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20:47, 30 दिसम्बर 2018 का अवतरण

मदद का भरोसा दिला करके लूटे
गरीबों को अपना बना करके लूटे

उसी के हैं चर्चे हमारे शहर में
हसीं ख़्वाब झूठे दिखा करके लूटे

उसी को हैं मिलते सड़क, पुल के ठेके
वो फ़र्ज़ी रसीदें लगा करके लूटे

बहुत बार उसकी हुई जाँच लेकिन
हुआ क्या, कमीशन खिला करके लूटे

ग़ज़ब का मदारी मिला है वो साहिब
बड़े हाक़िमों को मिला करके लूटे

उसे कोई बापू, कोई संत बोले
ख़ुदा का भी डर वो दिखा करके लूटे

किसी को तनिक भी न लगती भनक है
सुना है तमंचा सटा करके लूटे