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"एक अहसास / सुरजीत पातर" के अवतरणों में अंतर

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17:33, 12 मई 2024 का अवतरण

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मुखपृष्ठ  » रचनाकारों की सूची  » रचनाकार: सुरजीत पातर  » संग्रह: कभी नहीं सोचा था
»  एक अहसास

इधर डूबता सूरज है
उधर झड़ते पत्ते हैं
इधर विह्वल नदी है
उधर सूना पथ है

मेरे चारों ओर ये
दर्पण क्यों लटका दिए

पंजाबी से अनुवाद: चमन लाल