भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"युद्ध / आग्नेय" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
Pratishtha (चर्चा | योगदान) |
|||
पंक्ति 4: | पंक्ति 4: | ||
|संग्रह=मेरे बाद मेरा घर / आग्नेय | |संग्रह=मेरे बाद मेरा घर / आग्नेय | ||
}} | }} | ||
− | + | {{KKCatKavita}} | |
+ | <poem> | ||
एक माँ | एक माँ | ||
− | |||
सुनकर | सुनकर | ||
− | |||
अपने बेटे की मृत्यु का समाचार, | अपने बेटे की मृत्यु का समाचार, | ||
− | |||
जला देती है | जला देती है | ||
− | |||
दूसरी माँओं के बेटों को | दूसरी माँओं के बेटों को | ||
− | |||
अपने फूस के घर में | अपने फूस के घर में | ||
− | |||
आए थे | आए थे | ||
− | |||
जो अतिथि बनकर | जो अतिथि बनकर | ||
− | |||
उसके घर में | उसके घर में | ||
+ | </poem> |
11:16, 9 नवम्बर 2009 के समय का अवतरण
एक माँ
सुनकर
अपने बेटे की मृत्यु का समाचार,
जला देती है
दूसरी माँओं के बेटों को
अपने फूस के घर में
आए थे
जो अतिथि बनकर
उसके घर में