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"मैंने कहा / अनिल जनविजय" के अवतरणों में अंतर

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मैंने कहा--
 
मैंने कहा--
 
 
अकेला हूँ मैं मास्को में
 
अकेला हूँ मैं मास्को में
 
 
वसंत आया मेरे पास भागकर
 
वसंत आया मेरे पास भागकर
 
 
साथ लाया
 
साथ लाया
 
 
टोकरी भर फ़ूल
 
टोकरी भर फ़ूल
 
 
बच्चों की खिलखिलाहटें
 
बच्चों की खिलखिलाहटें
 
 
पेड़ॊं पर हरी पत्तियाँ
 
पेड़ॊं पर हरी पत्तियाँ
 
  
 
मैंने कहा--
 
मैंने कहा--
 
 
अकेला हूँ मैं
 
अकेला हूँ मैं
 
 
याद आई तुम्हारी
 
याद आई तुम्हारी
 
 
प्रेम आया
 
प्रेम आया
 
 
इच्छा आई मन में तुम्हें देखने की
 
इच्छा आई मन में तुम्हें देखने की
 
  
 
मैंने कहा--
 
मैंने कहा--
 
 
अकेला नहीं हूँ मैं
 
अकेला नहीं हूँ मैं
 
 
स्नेह है तुम्हारा मेरे साथ
 
स्नेह है तुम्हारा मेरे साथ
 
 
लगाव है
 
लगाव है
 
 
तुम्हारे चुम्बनों की निशानियाँ हैं
 
तुम्हारे चुम्बनों की निशानियाँ हैं
 
 
मेरे चेहरे पर अमिट
 
मेरे चेहरे पर अमिट
 
 
स्मृति में तुम्हारा चेहरा है
 
स्मृति में तुम्हारा चेहरा है
 
 
तुम्हारी चंचल शरारतें हैं
 
तुम्हारी चंचल शरारतें हैं
 
  
 
मैंने कहा--
 
मैंने कहा--
 
 
अकेला नहीं हूँ मैं
 
अकेला नहीं हूँ मैं
 
 
प्रिया है मेरी, मेरे पास
 
प्रिया है मेरी, मेरे पास
 
 
मेरे साथ
 
मेरे साथ
 
  
 
(1998)
 
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13:19, 17 नवम्बर 2010 के समय का अवतरण

मैंने कहा--
अकेला हूँ मैं मास्को में
वसंत आया मेरे पास भागकर
साथ लाया
टोकरी भर फ़ूल
बच्चों की खिलखिलाहटें
पेड़ॊं पर हरी पत्तियाँ

मैंने कहा--
अकेला हूँ मैं
याद आई तुम्हारी
प्रेम आया
इच्छा आई मन में तुम्हें देखने की

मैंने कहा--
अकेला नहीं हूँ मैं
स्नेह है तुम्हारा मेरे साथ
लगाव है
तुम्हारे चुम्बनों की निशानियाँ हैं
मेरे चेहरे पर अमिट
स्मृति में तुम्हारा चेहरा है
तुम्हारी चंचल शरारतें हैं

मैंने कहा--
अकेला नहीं हूँ मैं
प्रिया है मेरी, मेरे पास
मेरे साथ

(1998)