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"गमन / आग्नेय" के अवतरणों में अंतर

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फूल के बोझ से
 
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टूटती नहीं है टहनी
 
टूटती नहीं है टहनी

11:15, 9 नवम्बर 2009 का अवतरण

फूल के बोझ से
टूटती नहीं है टहनी
फूल ही अलग कर दिया जाता है
टहनी से

उसी तरह टूटता है संसार
टूटता जाता है संसार--
मेरा और तुम्हारा

चमत्कार है या अत्याचार है
इस टूटते जाने में
सिर्फ़ जानता है

टहनी से अलग कर दिया गया
फूल