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दुनियाभर की मानोगे इक बात जुटाई जाती हैकहो तो बोलूँ मैं फिर अच्छे से आग लगाई जाती होने को हैरा त कहो तो बोलूँ मैं?
बाद में उस को ताना मारा जाता हैपांच बजे ही मेरी बारी थी,थी ना? पहले लड़की ख़ूब सजाई जाती है हुए हैं पौने सात कहो तो बोलूँ मैं
हम अच्छे हैं और बुरे हैं बाक़ी सब यह इल्ली तो सब बूँद-बूँद में पाई जाती ख़ून उतर आया देखो!कैसी है बरसात कहो तो बोलूँ मैं?
पहले सिर पर यार चढ़ाया जाता गोया ऐसा खेल नहीं हैदुनिया मेंफिर गुस्से से आँख दिखाई जाती हैशह में बैठी मात कहो तो बोलूँ मैं
जहाँ सिखाया जाता है कि अच्छा बनइंसां हो तो इंसां रहना सीखो,और वहीं बगल में नाक कटाई जाती है गन्दी-गन्दी बात कहो तो बोलूँ मैं?
आस-पड़ोसी हर साज़िश में हैं शामिलकाले करतब काले धंधे वाले लोगऔर, यहीं पर रोज़ पूछ रहे हैं मिठाई जात जाती हैकहो तो बोलूँ मैं
तुलसी तक मुरझा जाती है केवल आँतें टूट रही हैं बाकी 'दीप' यहाँजब जब माँ के घर भौजाई जाती हैअच्छे हैं हालात कहो तो बोलूँ मैं?
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