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"पहाड़ियाँ-2 / प्रयाग शुक्ल" के अवतरणों में अंतर
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13:23, 11 अप्रैल 2011 के समय का अवतरण
रात को अँधेरे में डूब जाती हैं पहाड़ियाँ ।
क्या उस वक़्त पहाड़ियाँ
होती हैं गहरी नींद में !
नहीं, कभी नहीं सोती पहाड़ियाँ ।
लेटे-लेटे वे दुलारती हैं
अपनी वनस्पतियाँ,
उठाकर अपने हाथ,
जो हमें दिखाई नहीं देते !