भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"लंपट / असंगघोष" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
Lalit Kumar (चर्चा | योगदान) ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=असंगघोष |अनुवादक= |संग्रह=समय को इ...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) |
(कोई अंतर नहीं)
|
21:07, 13 अक्टूबर 2015 के समय का अवतरण
गलाफाड़ कर
तुम्हीं कहते रहे हो
हमारे संस्कार
हमें बनाते हैं महान
और इन संस्कारों से ही
यह महादेश विश्वगुरु बना है
लेकिन
जरा विस्तार से बताओगे
तुम्हारा कौन-सा संस्कार
तुम्हें बनाता है विश्वगुरु
लंपट कहीं के...