भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

"नए साल पर / प्रकाश मनु" के अवतरणों में अंतर

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=प्रकाश मनु |अनुवादक= |संग्रह=बच्च...' के साथ नया पृष्ठ बनाया)
 
(कोई अंतर नहीं)

14:49, 16 फ़रवरी 2017 के समय का अवतरण

नए साल पर,
पापा, लाना नया कलेंडर!

नया कलेंडर जिसमें बढ़िया-
बढ़िया चित्र बने हों,
खिल-खिल झरने, नदियाँ, पर्वत
मन के मित्र बने हों।
उसे देख बासीपन भागे
भागे पिछला वैर,
रंगभरी सपनों की चिड़िया
आए फर-फर-फर!

नए साल पर पापा, लाना
नया कलेंडर!

नया कलेंडर हो वह पापा
खुशबू की फुलवारी-सा,
बेला, जूही, हरसिंगार हो
या गुलाब की क्यारी-सा।

नए साल की लिए बधाई
नए साल की खुशियाँ,
फूल-फूल पर उड़ती हो
एक तितली इधर-उधर!

नए साल पर पापा, लाना
वही कलेंडर!

नया कलेंडर नए खजानों
की चाबी बन जाए,
कुछ करने की, कुछ बनने की
मन में चाह जगाए।
ऐसा ही बस, ऐसा ही इक
प्यारा नया कलेंडर,
लेकर आना जिसमें सपने
करते जगर-मगर!
नए साल पर,
पापा, लाना नया कलेंडर!