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"चांद / कृष्णदेव प्रसाद" के अवतरणों में अंतर

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16:15, 11 अप्रैल 2018 का अवतरण

कार कार हइ पहाड़ की हइ बदरिया करिया ॥1॥

लहसे ललित रतनजोत
नयन सुखित मुदित होत
हाय छिनहि में भेल इलोत
तान के कार चदरिया ॥2॥

फट रे बादर हंट पहाड़
जोति! जोति! मुंह उघार
फिर जगत में दे पसार
अप्पन सुखद इंजोरिया ॥3॥