भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
"पानी बाबा आया / नईम" के अवतरणों में अंतर
Kavita Kosh से
Sharda suman (चर्चा | योगदान) ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=नईम |अनुवादक= |संग्रह=पहला दिन मेर...' के साथ नया पृष्ठ बनाया) |
Sharda suman (चर्चा | योगदान) |
||
पंक्ति 5: | पंक्ति 5: | ||
|संग्रह=पहला दिन मेरे आषाढ़ का / नईम | |संग्रह=पहला दिन मेरे आषाढ़ का / नईम | ||
}} | }} | ||
− | {{ | + | {{KKCatNavgeet}} |
<poem> | <poem> | ||
पानी बाबा आया | पानी बाबा आया |
16:38, 14 मई 2018 के समय का अवतरण
पानी बाबा आया
ककड़ी-भुट्टे लाया,
पानी बाबा आया।
नंग-धड़ंग फरिश्ते,
जाने कौन दिशा से,
भरते वो किलकारी
घर-आँगन में उतरे;
धरती धानी लाया,
पानी बाबा आया।
नन्हे-नन्हे बच्चे,
बाबा बूढ़ा बादल;
आँज रहा आँखों में
ठंडा-ठंडा काजल;
गलियों, चौपालों में
काशी-काबा लाया,
पानी बाबा आया
जात न पूछो ज्ञानी
नानी होती नानी;
पानी का क्या मजहब
पानी तो बस पानी।
बहुत दूर की लाया
कौड़ी कानी लाया।
पानी बाबा आया।