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जब भी
सर्द सड़कें पसरने लगती हैं
मेरे सामने

और चुकने लगती है
मेरी रज़ाई की तपिश
मैं निकालती हूँ
उसे अपनी स्मृतियों की तिजोरी से

और
लौ जला देती हूँ उसमें
कोमलता की तीली से...


अंग्रेज़ी से अनुवाद : यादवेन्द्र