भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
हरियो रूमाळ / राजस्थानी
Kavita Kosh से
Lalit Kumar (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 07:40, 9 सितम्बर 2016 का अवतरण
♦ रचनाकार: अज्ञात
चाहे बिक जाये हरियो रूमाळ
बैठूंगी मोटर कार में
चाहे सास बिको चाहे ससुर बिको
चाहे बिक जाये नणद छिनार
बैठूंगी मोटर कार में
चाहे देवर बिको चाहे देराणी बिको
चाहे बिक जाये सारा रूमाळ
बैठूंगी मोटर कार में
चाहे जेठ बिको चाहे जेठाणी बिको
चाहे बिक जाये हरियो रूमाळ
बैठूंगी मोटर कार में
चाहे बलम बिको चाहे सौंक बिको
चाहे बिक जाये सांस को लाल
बैठूंगी मोटर कार में