अल्ताफ़ हुसैन हाली

| जन्म | 1837 |
|---|---|
| निधन | 1914 |
| उपनाम | हाली |
| जन्म स्थान | पानीपत, हरियाणा |
| कुछ प्रमुख कृतियाँ | |
| विविध | |
| जीवन परिचय | |
| अल्ताफ़ हुसैन हाली / परिचय | |
ग़ज़ल
- धूम है अपनी पारसाई की / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- इश्क़ सुनते थे जिसे हम वो यही है शायद/ अल्ताफ़ हुसैन हाली
- फ़रिश्ते से बेहतर है इन्सान बनना / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- जहाँ में ‘हाली’ किसी पे अपने सिवा भरोसा न कीजियेगा / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- ऐ इश्क़ तूने अक्सर क़ौमों को खा के छोड़ा / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- है जुस्तजू कि ख़ूब से हो ख़ूबतर कहाँ / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- हक वफ़ा का जो हम जताने लगे / अल्ताफ़ हुसैन हाली
- फुटकर शेर / अल्ताफ़ हुसैन हाली