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गजबे मुकद्दर हो गइल / मनोज भावुक

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गजबे मुकद्दर हो गइल
गड़ही समुन्दर हो गइल

साथी त टंगरी खींच के
हमरा बराबर हो गइल

घरही में सिक्सर तान के
बबुआ सिकन्दर हो गइल

राजा मदारी कब भइल?
जब लोग बानर हो गइल

'भावुक' कहाँ भावुक रहल
ईहो त पत्थर हो गइल