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और खोए हुए को रोशनी दिखाता है,
कौन ?
'''मूल बांगला से अनुवाद : अनिल जनविजय'''
—
'''लीजिए, अब यही कविता मूल बांगला में पढ़िए'''
শাহনাজ মুন্নী