भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए
फगुनवाँ गउवाँ में आइल / जगदीश पंथी
Kavita Kosh से
Lalit Kumar (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 15:32, 2 सितम्बर 2013 का अवतरण ('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=जगदीश पंथी |अनुवादक= |संग्रह= }} {{KKCatBho...' के साथ नया पन्ना बनाया)
चइती फसिल गदराइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल,
धरती पियरकी रंगाइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल।
पेड़वा पुरनकी पतइया गिरावै
नई-नई कलंगी से देहिया सजावै
पछुआ बयरिया रसाइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल।
‘पिउ-पिउ’ पपिहरा कोइलिया के बोली
भउजी के आइल दुअरवा पर डोली
मुनियाँ के सुदिन धराइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल।
चंग-मृदंग धमार खोरी-खोरी
उड़ै अबीर गुलाल चारी ओरी
रंगवा में नेहिया पगाइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल।
अमवाँ बउरइले महुइया मोजराइल
सगरो सिवनवाँ वसंती रंगाइल
रतिया वन्दनिया हेराइल, फगुनवाँ गउवाँ में आइल।