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"सारे रिश्तों को तोड़ कर जाना / अभिषेक कुमार अम्बर" के अवतरणों में अंतर

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पर न मुंह मुझसे मोड़ कर जाना
 
पर न मुंह मुझसे मोड़ कर जाना
 
साथ जीने की कसमें खाई हैं
 
साथ जीने की कसमें खाई हैं
हम न राहों में छोड़ कर जाना
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अब न राहों में छोड़ कर जाना
 
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19:58, 6 मार्च 2020 के समय का अवतरण

सारे रिश्तों को तोड़ कर जाना
पर न मुंह मुझसे मोड़ कर जाना
साथ जीने की कसमें खाई हैं
अब न राहों में छोड़ कर जाना