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"हाइकु / अज्ञेय" के अवतरणों में अंतर

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09:30, 18 अप्रैल 2012 का अवतरण

    
याद
(1)
कैसे कहूँ की
किसकी याद आई?
चाहे तड़पा गई।
(2)
याद उमस
एकाएक घिरे बादल में
कौंध जगमगा गई।
(3)
भोर की प्रथम किरण फीकी :
अनजाने जागी हो
याद किसी की--

हिन्दी में हाइकु की प्रथम चर्चा का श्रेय अज्ञेय को दिया जाता है, उन्होंने हाइकु सी लगनी वाली अनेक रचनाऐं लिखी हैं जिन पर लगातार शोध जारी है,