भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
दार्शनिक बन जाओगे
मुक्ति मिल जाएगी।
'''हिन्दी में अनुवाद : रति सक्सेना '''
</poem>
Mover, Reupload, Uploader
7,916
edits