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* [[और क्या इस शहर में धंधा करें / ‘शुजाअ’ खावर]]
* [[दूसरी बातों में हमको हो गया घाटा बहुत / ‘शुजाअ’ खावर]]
* [[क्या फ़िक्र जो दुश्मन हैं मिरे यार ग़ज़ल के / ‘शुजाअ’ खावर]]
* [[रोज़ सुन सुन के उन अल्फ़ाज़ का डर बैठ गया / ‘शुजाअ’ खावर]]