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Kavita Kosh से
|नाम=गिरिजाकुमार माथुर
|उपनाम=
|जन्म=1919|जन्मस्थान=अशोकनगर, मध्यप्रदेश|कृतियाँ= नाश और निर्माण, मंजीर, धूप के धान, मुझे और अभी कहना है, शिलापंख चमकीले, जो बंध नहीं सका, मैं वक़्त के हूँ सामने,भीतरी नदी की यात्रा, छाया मत छूना मन
|विविध=
|अंग्रेज़ीनाम=Girijakumar Mathur, Girija Kumar