भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

Changes

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
अब तो और भी महान् हो गई है
भारतीय जनता
 
किस जनता से किस जनता तक जाने में
किस जनता को किस जनता तक लाने में
कितनी कठिनाई होती है इस जाड़े में ।
</poem>
Delete, Mover, Protect, Reupload, Uploader
54,098
edits