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आ गया मौसम सुहाना / बाबा बैद्यनाथ झा
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आ गया मौसम सुहाना।
प्यार का गाएँ तराना।
हाथ पकड़ो घूम आएँ,
मत करो कोई बहाना।
मुस्कुराहट देख ली थी,
मैं बना तब से दिवाना।
शर्म को दिल से हटा दो,
क्या करेगा यह ज़माना?
मौज़ मस्ती हम करेंगे,
ख़ूब होगा नाच-गाना।
आज हम वादा करें यह,
साथ जीवन भर निभाना।
प्रेम है अनमोल 'बाबा' ,
है हमें जग को दिखाना।