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प्रयाण-गीत / गुलाब खंडेलवाल

No change in size, 22:01, 20 जुलाई 2011
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मुकुट नगाधिराज का झुका तनिक संभाल सँभाल दो
बढ़ो कि आज शत्रु को स्वदेश से निकाल दो
 
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