भारत की संस्कृति के लिए... भाषा की उन्नति के लिए... साहित्य के प्रसार के लिए

"इबारतें / प्रेमशंकर रघुवंशी" के अवतरणों में अंतर

Kavita Kosh से
यहाँ जाएँ: भ्रमण, खोज
('{{KKGlobal}} {{KKRachna |रचनाकार=प्रेमशंकर रघुवंशी |अनुवादक= |संग्...' के साथ नया पन्ना बनाया)
 
(कोई अंतर नहीं)

00:38, 12 मार्च 2014 के समय का अवतरण

भाषा ने
जब
आकाश की तरफ़ देखा
तो
नीले पन्ने पर
सूरज से
ऊर्जा लेकर
चाँद तारों ने
इबारतें लिख डालीं उस पर !!